By DAYANAND MOHITE | published: दिसंबर 10, 2019 02:49 PM 2019-02-12T14:15:30+5:30
शहर : राष्ट्रीय
नागरिकता संशोधन बिल के सोमवार को लोकसभा में पास होने के बाद कल इस पर राज्यसभा में चर्चा होगी. उच्च सदन में इस अहम बिल पर चर्चा के लिए 6 घंटे तक समय दिया गया है. चर्चा दोपहर 2 बजे से शुरू होगी.
इससे पहले आध्यात्मिक गुरु श्री श्री रविशंकर ने भारत सरकार से मांग की है कि भारत में रह रहे करीब 1 लाख तमिल श्रीलंकाईयों को भारतीय नागरिकता दी जाए. आध्यात्मिक गुरु ने ट्वीट कर कहा, 'मैं भारत सरकार से अनुरोध करता हूं कि वह 1 लाख से अधिक तमिल श्रीलंकाई नागरिकों को नागरिकता देने पर विचार करें, जो इस देश में पिछले 35 वर्षों से शरणार्थी के रूप में रह रहे हैं'. वहीं, इस बिल का कुछ राजनीतिक दलों और लोगों द्वारा विरोध किए जाने के बीच अन्नाद्रमुक ने इस बिल का समर्थन करने का ऐलान किया है. AIADMK ने इस बिल के लोकसभा में पारित होने के बाद इसे कल उच्च सदन यानि राज्यसभा में लाए जाने पर समर्थन देने की घोषणा की है.
दरअसल, यह बिल सोमवार को लोकसभा में पास हो गया. पूर्वोत्तर में इस बिल के खिलाफ पहले से ही विरोध रहा है. सरकार ने बिल में नार्थ-ईस्ट के राज्यों की आशंकाओं को दूर करने का प्रयास भी किया लेकिन इसके बावजूद असम में आज इस बिल के विरोध में कई छात्र संगठनों ने राज्यव्यापी बंद का ऐलान किया है. नॉर्थ-ईस्ट स्टूडेंट्स यूनियन और आल इंडिया स्टूडेंट्स यूनियन ने आज असम में 11 घंटे के बंद के ऐलान की घोषणा की है. इसके चलते गुवाहाटी में आज सुबह सड़कों पर सन्नाटा देखा गया और दुकानें बंद देखी गईं. असम में कई जगह प्रदर्शनकारियों ने विरोध-प्रदर्शन भी किया. डिब्रूगढ़ और जोरहट में प्रदर्शनकारियों ने टायर जलाए.
केंद्र सरकार ने सोमवार को लोकसभा में नागरिकता संशोधन विधेयक 2019 पेश किया, जो करीब आठ घंटे की बहस के बाद रात 12 बजे पास हो गया. इस बिल को पास कराने में सरकार को कोई मुश्किल नहीं हुई, लेकिन इस पर काफी लंबी बहस चली. सोमवार रात करीब ग्यारह बजे गृहमंत्री अमित शाह ने विपक्षी नेताओं की ओर से उठाए गए सवालों का जवाब दिया. इसके बाद रात 11:35 बजे लोकसभा स्पीकर ओम बिड़ला ने कहा गृहमंत्री की ओर से सारे बिदुओं को स्पष्ट किया जा चुका है, इसके बाद नहीं लगता है कि किसी को कोई कन्फ्यूजन रह गया होगा. इसके बाद लोकसभा स्पीकर ने बिल पर वोटिंग कराया.
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